गोल्ड प्राइस में गिरावट का इंतजार करने के बजाय तुरंत निवेश कर लें: टाटा एसेट मैनेजमेंट

Tata Asset Management ते तपन पटेल का कहना है कि सोने की कीमतों में बड़े करेक्शन की प्रतीक्षा करने के बजाय मौजूदा बाजार के माहौल और शुभ अवसर को सोने में निवेशित रहने के अवसर के रूप में लेना चाहिए। कमोडिटी सेक्शन के एक्सपर्ट् ने कहा कि आने वाले महीनों में सोने की कीमतों में तेजी रहने की उम्मीद है

अपडेटेड Apr 27, 2023 पर 10:52 PM
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सोने में पारंपरिक निवेश के अलावा गोल्ड ईटीएफ, म्यूचुअल फंड्स, सॉवरेन गोल्ड बांड और डिजिटल गोल्ड सोने के निवेश के प्रमुख विकल्प हैं

गोल्ड यानी कि सोना वर्षों से भारत में सबसे पसंदीदा निवेशों में से एक है। लोग शुभ अवसरों और त्योहारों पर सोना खरीदते हैं। जबकि ग्रामीण भारत में किसान अच्छी फसल के मौसम के बाद सोना खरीदते हैं। सोने की कीमतों पर मुद्रास्फीति और आर्थिक अनिश्चितता का ज्यादा असर नहीं होता है। समय बीतने के साथ सोने में निवेश के स्वरूप बदल गए हैं। सोने में निवेश अब कई रूपों में किया जा सकता है जैसे आभूषण, सिक्के, बार, गोल्ड एक्सचेंज-ट्रेडेड फंड, गोल्ड फंड, सॉवरेन गोल्ड बॉन्ड स्कीम, डिजी-गोल्ड आदि खरीदना। ये ऐसे विकल्प हैं जिसके जरिये निवेशक सोने में निवेश कर सकते हैं।

ऐसे में Tata Asset Management के तपन पटेल का कहना है कि मौजूदा बाजार के माहौल और शुभ अवसर को कीमतों में बड़े करेक्शन की प्रतीक्षा करने के बजाय सोने में निवेश करके बने रहना चाहिए। हम आने वाले महीनों में सोने की कीमतों में तेजी रहने की उम्मीद कर सकते हैं।

निवेशक फिलहाल में बाजार में उपलब्ध सोने में निवेश के लिए विभिन्न निवेश विषयों की तलाश कर सकते हैं। भौतिक सोने में निवेश के अलावा, निवेशक सोने में निवेश करने के लिए निम्नलिखित साधनों का भी पता लगा सकते हैं। जबकि शॉर्ट टर्म ट्रेडर्स एक्सचेंज-ट्रेडेड डेरिवेटिव प्रोडक्ट्स पर विचार कर सकते हैं।


पारंपरिक सोने के निवेश के अलावा सोने के निवेश के प्रमुख विषयों के कुछ विकल्प इस प्रकार हैंः

गोल्ड ईटीएफ (Gold ETFs)

गोल्ड एक्सचेंज ट्रेडेड फंड एक तरह का कागज या रसीद है जिसके बदले में फिजिकल गोल्ड लिया जा सकता है। गोल्ड ईटीएफ स्टॉक निवेश के लचीलेपन और सोने के निवेश की सरलता को कंबाइन करता है। गोल्ड ईटीएफ किसी भी कंपनी के स्टॉक की तरह भारत के नेशनल स्टॉक एक्सचेंज और बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज (बीएसई) में लिस्टेड है और इसमें कारोबार होता है। गोल्ड ईटीएफ किसी भी अन्य कंपनी स्टॉक की तरह बीएसई और एनएसई के कैश सेगमेंट पर ट्रेड करता है। और इसे भी बाजार भाव पर लगातार खरीदा और बेचा जा सकता है। (Source: AMFI)

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म्यूचुअल फंड्स (Mutual Funds)

विभिन्न एसेट मैनेजमेंट कंपनियां (AMCs) अब हाइब्रिड मल्टी-एसेट स्कीम्स के जरिये सोने में निवेश करने का अवसर प्रदान कर रही हैं। कई स्कीम्स फंड-ऑफ-फंड स्ट्रक्चर का पालन करती हैं। ये मुख्य रूप से गोल्ड ईटीएफ में निवेश करती हैं। जबकि कुछ ETCD (एक्सचेंज-ट्रेडेड कमोडिटी डेरिवेटिव) के जरिये से निवेश की पेशकश करती हैं।

सॉवरेन गोल्ड बांड (Sovereign Gold Bonds)

SGB ​​सोने के ग्राम के अनुसार मूल्यवर्गित सरकारी सिक्योरिटीज हैं। वे भौतिक सोना रखने के विकल्प हैं। निवेशकों को निर्गम मूल्य का भुगतान नकद में करना होता है। मैच्युरिटी पर बांड को नकद में भुनाया जाता है। बांड भारत सरकार की ओर से रिजर्व बैंक द्वारा जारी किया जाता है। बांड प्रारंभिक निवेश की राशि पर प्रति वर्ष 2.50 प्रतिशत (निश्चित दर) की दर से ब्याज देते हैं। (Source: RBI)

डिजिटल गोल्ड (Digital Gold)

डिजिटल सोना भौतिक रूप से संग्रहीत किए बिना डिजिटल रूप से सोने को खरीदने और बेचने का एक तरीका है। इस निवेश पर रिटर्न भौतिक सोने के बाजार मूल्य से निर्धारित होती है। डिजिटल सोना 100 प्रतिशत शुद्ध, सुरक्षित रूप से संग्रहीत और पूरी तरह से इंश्योर्ड होता है।

(डिस्क्लेमरः Moneycontrol.com पर दिए जाने वाले विचार और निवेश सलाह निवेश विशेषज्ञों के अपने निजी विचार और राय होते हैं। Moneycontrol यूजर्स को सलाह देता है कि वह कोई निवेश निर्णय लेने के पहले सर्टिफाइड एक्सपर्ट से सलाह लें।)

Sunil Gupta

Sunil Gupta

First Published: Apr 22, 2023 10:09 AM

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