इनकम टैक्स रिटर्न (ITR) फाइल करने की रफ्तार सुस्त है। करीब 27 फीसदी टैक्सपेयर्स ने अभी अपने रिटर्न फाइल नहीं किए हैं। इसकी वजह मानसून की बारिश बताई जा रही है। देश के कई इलाकों में भारी बारिश की वजह से लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। एक सर्वे में यह बात कही गई है। सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म LocalCircles ने यह सर्वे किया है। इस सर्वे के लिए 315 जिलों के 12,000 लोगों के रिस्पॉन्स लिए गए। इस बार मानसून की भारी बारिश देश के पश्चिमी राज्यों में हो रही है। इनमें गुजरात और महाराष्ट्र शामिल हैं। इनके अलावा असम, हिमाचल प्रदेश, उत्तराखंड, तेलंगाना और दिल्ली-एनसीआर में बहुत ज्यादा बारिश हुई है।
सरकार ने साफ किया है कि डेडलाइन नहीं बढ़ेगी
ज्यादा बारिश की वजह से इन इलाकों के लोगों को दिक्कतों का सामना करना पड़ रहा है। लाखों लोगों को राहत पहुंचाई जा रही है। सर्वे में बाढ़ और बार-बार बिजली कटने को आईटीआर की कम संख्या में फाइलिंग की वजह बताई गई है। फाइनेंशिल ईयर 2022-23 के लिए इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने की अंतिम तारीख 31 जुलाई है। पहले यह माना जा रहा था कि कई इलाकों में भारी बारिश को देखते हुए इसकी डेडलाइन बढ़ाई जाएगी। लेकिन, सरकार की तरफ से स्पष्ट किया गया है कि डेडलाइन नहीं बढ़ाई जाएगी। रेवेन्यू सेक्रेटरी संजय मल्होत्रा ने पिछले हफ्ते कहा था कि चुनौतियों के बावजूद इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने की अंतिम तारीख नहीं बढ़ाई जाएगी।
कई टैक्सपेयर्स चाहकर भी फाइल नहीं कर पा रहे रिटर्न
सर्वे में शामिल कई लोगों ने बताया कि वे डेडलाइन से पहले FY 2022-23 का इनकम टैक्स रिटर्न फाइल करने की स्थिति में नहीं हैं। हालांकि, 70 फीसदी टैक्सपेयर्स ने अपने रिटर्न फाइल कर दिए हैं। 5 फीसदी लोगों का कहना है कि उन्होंने रिटर्न फाइल करने की कोशिश की थी, लेकिन दिक्कत की वजह से यह नहीं हो पाया। 8 फीसदी लोगों ने कहा कि वे इस महीने के अंत तक रिटर्न फाइल कर देंगे। 14 फीसदी टैक्सपेयर्स ने कहा कि उनके लिए डेडलाइन के अंदर रिटर्न फाइल करने की कम उम्मीद दिखती है।
टैक्सपेयर्स डेडलाइन दो हफ्ते बढ़ाने के पक्ष में
लोकलसर्किल्स पर हुई एक चर्चा से पता चला है कि ज्यादातर टैक्सपेयर्स डेडलाइन दो हफ्ते बढ़ाने के पक्ष में हैं। उनका कहना है कि बाढ़ और बिजली उपलब्ध नहीं होने की वजह से रिटर्न फाइल करने में दिक्कत आ रही है। लोकलसर्किल्स ने कहा है कि वह सर्वे के नतीजों के बारे में फाइनेंस मिनिस्ट्री को बताएगी।