लोन के वन-टाइम सेटलमेंट और माफी पर अब नहीं कटेगा TDS, CBDT ने दी बैंकों को राहत

इस स्पष्टीकरण से बैंकों को बहुत राहत मिली है। इससे उन्हें टैक्स से जुड़े ट्रांजेक्शन पर अतिरिक्त खर्च नहीं करना पड़ेगा

अपडेटेड Sep 14, 2022 पर 4:16 PM
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बैंकों ने लोन सेटलमेंट और माफी पर टीडीएस काटने के प्रावधान को लेकर अपनी चिंता जताई थी।

बैंकों और फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशंस को वन टाइम लोन सेटलमेंट और माफी (Waivers) पर 10 फीसदी TDS काटने की जरूरत नहीं पड़ेगी। सेंट्रल बोर्ड ऑफ डायरेक्ट टैक्सेज ने यह जानकारी दी है।

CBDT ने यह भी स्पष्ट किया है कि इस साल बजट में पेश सेक्शन 194आर के तहत बोनस और राइट्स इश्यू जारी करने पर टीडीसी काटना जरूरी नहीं है। यह सेक्शन 1 जुलाई, 2022 से लागू हो चुका है। इसके तहत किसी रेजिडेंट को किसी तरह का लाभ या भत्ता देने वाले व्यक्ति को उसकी वैल्यू का 10 फीसदी टीडीएस काटना होगा।

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बैंकों ने लोन सेटलमेंट और माफी पर टीडीएस काटने के प्रावधान को लेकर अपनी चिंता जताई थी। उन्होंने कहा था कि टैक्स से जुड़े इस ट्रांजेक्शन की वजह से उन पर बोझ बढ़ जाएगा। अब सीबीडीटी की तरफ से स्पष्टीकरण आ जाने के बाद स्थिति साफ हो गई है।

पब्लिक फाइनेंशियल इंस्टीट्यूशन, शिड्यूल्ड बैंक, एसेट रीकंस्ट्रक्शन कंपनीज, को-ऑपरेटिव बैंक, स्टेट फाइनेंशियल कॉर्पोरेशन सहित कई वित्तीय संस्थाओं को इस प्रावधान के दायरे से बाहर रखा गया है।

इस स्पष्टीकरण से बैंकों को बहुत राहत मिली है। इससे उन्हें टैक्स से जुड़े ट्रांजेक्शन पर अतिरिक्त खर्च नहीं करना पड़ेगा। सीबीडीटी ने कहा है कि उसे यह बताया गया था कि बोनस और राइट्स शेयर से शेयरहोल्डर्स को किसी तरह का फायदा नहीं होता है। इसकी वजह यह है कि कंपनी की कुल वैल्यू और ओनरशिप में बदलाव नहीं आता है।

गाइडलाइंस में यह भी कहा गया है कि एम्बैसी और हाई कमीशन को भी सेक्शन 194आर से छूट हासिल होगी। इस सेक्शन के प्रावधान यूएन के प्रिविलेज एंड इम्युनिटी एक्ट, 1947 के तहत आने वाले किसी संगठन की तरफ से दिए जाने वाले लाभ पर लागू नहीं होंगे।

अगर एक कंपनी दूसरी कंपनी को कोई उपहार जैसे कार देती है तो जिस व्यक्ति को कार मिल रही है वह सेक्शन 194आर के तहत काटे गए 10 फीसदी टीडीएस पर डिडक्शन क्लेम कर सकता है।

अगर कोई कंपनी अपने डीलर्स को एजुकेट करने के लिए किसी कॉन्फ्रेंस का आयोजन करती है तो सेक्शन 194आर के तहत पार्टिसिपेंट पर होने वाले खर्च को बेनेफिट नहीं माना जाएगा। अगर डीलर कॉन्फ्रेंस के बाद भी उस जगह पर स्टे करता है तो उस पर होने वाले खर्च को नए सेक्शन के तहत बेनेफिट माना जाएगा। हालांकि, कॉन्फ्रेंस से एक दिन पहले या एक दिन बाद के स्टे को ओवरस्टे नहीं माना जाएगा।

MoneyControl News

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First Published: Sep 14, 2022 3:52 PM

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