अगर रियल एस्टेट फर्मों, मॉल या एयरपोर्ट द्वारा बिजली बिल को रेंट या मेंटेनेंस चार्ज में जोड़ा जाता है, तो इसे कंपोजिट सप्लाई माना जाएगा और इस पर 18 पर्सेंट गुड्स एंड सर्विसेज टैक्स (GST) लगेगा। हालांकि, अगर बिजली की सप्लाई रेजिडेंट्स वेलफेयर एसोसिएशन या रियल एस्टेट डिवेलपर्स की तरफ से की जाती है, जहां बिजली बिल राज्य इलेक्ट्रिसिटी बोर्ड या डिस्ट्रीब्यूशन कंपनियों के वास्तविक चार्ज के आधार पर वसूली जाता है, तो इस पर GST नहीं लगेगा।