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Jana SFB IPO Listing: 4% डिस्काउंट पर शेयरों की लिस्टिंग, दिन के आखिरी में और बढ़ा निवेशकों का घाटा

Jana SFB IPO Listing: नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनी (NBFC) जन स्मॉल फाइनेंस बैंक (Jana SFB) की लिस्टिंग ने आज आईपीओ निवेशकों को निराश किया है। इसके आईपीओ के तहत नए शेयर जारी हुए हैं और ऑफर फॉर सेल विंडो के तहत भी शेयरों की बिक्री हुई है। जानिए आईपीओ को कैसा रिस्पांस मिला था और इसके जरिए जुटाए गए पैसों का इस्तेमाल कैसे होगा?

Edited By: Moneycontrol Newsअपडेटेड Feb 14, 2024 पर 4:31 PM
Jana SFB IPO Listing: 4% डिस्काउंट पर शेयरों की लिस्टिंग, दिन के आखिरी में और बढ़ा निवेशकों का घाटा
Jana SFB IPO Listing: जन स्मॉल फाइनेंस बैंक का 570 करोड़ रुपये का आईपीओ सब्सक्रिप्शन के लिए 7-9 फरवरी तक खुला था। आज इसके शेयरों की मार्केट में फीकी एंट्री हुई है।

Jana SFB IPO Listing: नॉन-बैंकिंग फाइनेंस कंपनी (NBFC) जन स्मॉल फाइनेंस बैंक (Jana SFB) के शेयरों की आज घरेलू मार्केट में निराश करने वाली एंट्री हुई। इसका आईपीओ ओवरऑल 19 गुना से अधिक सब्सक्राइब हुआ था। आईपीओ के तहत 414 रुपये के भाव पर शेयर जारी हुए हैं। आज BSE पर इसकी 396 रुपये और NSE पर भी 396 रुपये के भाव पर एंट्री हुई है यानी कि आईपीओ निवेशकों को कोई लिस्टिंग गेन नहीं मिला बल्कि लिस्टिंग पर उन्हें 4 फीसदी से अधिक घाटा हो गया। हालांकि डिस्काउंट पर लिस्टिंग के बाद शेयर ऊपर चढ़े और 408.80 रुपये पर पहुंच गए। हालांकि फिर यह फिसल गया और फिसलकर यह 368.20 रुपये (Jana SFB Share Price) पर बंद हुआ है यानी कि पहले दिन आईपीओ निवेशक 11 फीसदी घाटे में हैं।

Jana SFB IPO को मिला था तगड़ा रिस्पांस

जन स्मॉल फाइनेंस बैंक का 570 करोड़ रुपये का आईपीओ सब्सक्रिप्शन के लिए 7-9 फरवरी तक खुला था। इस आईपीओ को निवेशकों का अच्छा रिस्पांस मिला था और ओवरऑल यह 19.89 गुना सब्सक्राइब हुआ था। इसमें क्वालिफाईड इंस्टीट्यूशनल बायर्स (QIB) का हिस्सा 39.81 गुना, नॉन-इंस्टीट्यूशनल इनवेस्टर्स (NII) का हिस्सा 26.13 गुना और खुदरा निवेशकों का आरक्षित हिस्सा 5.70 गुना भरा था।

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इस आईपीओ के तहत 462 करोड़ रुपये के नए शेयर जारी हुए हैं। इसके अलावा 10 रुपये की फेस वैल्यू वाले 108 करोड़ रुपये के 26,08,629 शेयरों की ऑफर फॉर सेल (OFS) विंडो के तहत बिक्री हुई है। ऑफर फॉर सेल का पैसा तो शेयर बेचने वाले शेयरहोल्डर्स को मिला है। वहीं नए शेयरों के जरिए जुटाए गए पैसों का इस्तेमाल बैंक के टियर-1 कैपिटल बेस को बढ़ाने और आईपीओ से जुड़े खर्चों को भरने में होगा।

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