Vande Bharat: देश के कई राज्यों को वंदे भारत की सौगात मिल चुकी है। यह ट्रेन काफी लोकप्रिय हो गई है। कई राज्यों के मुख्यमंत्रियों ने इस ट्रेन को अपने राज्य में चलाने की मांग कर चुके हैं। लेकिन इस ट्रेन के साथ दिक्कत यह है कि महंगा किराया होने की वजह से इसमें आम आदमी सफर नहीं कर पाते हैं। ऐसे में सरकार एक नई ट्रेन वंदे साधारण ट्रेन चलाने की तैयारी में है। इस वंदे साधार ट्रेन से प्रवासी मजदूर भी बेहद कम पैसे में लग्जरी कोच में सफर कर सकेंगे।
नई वंदे भारत ट्रेनों को सस्ते किराए के साथ आम आदमी की जरूरतों को पूरा करने के लिए डिजाइन किया गया है। ये ट्रेनें किराए के लिहाज से सस्ती होंगी। इसमें मिलने वाली सुविधाएं लग्जरी होंगी। इन ट्रेनों में कुल 24 कोच लगाए जाएंगे। 2 इंजन लगेंगे।
प्रवासी मजदूर भी वंदे साधारण ट्रेन में कर सकेंगे सफर
इन ट्रेनों को चेन्नई की इंटीग्रल कोच फैक्ट्री में बनाया जा रहा है। ट्रेन को बनाने में करीब 65 करोड़ रुपए खर्च हो सकते हैं। इसे इस साल के आखिर तक शुरू किया जा सकता है। लेकिन इस बारे में भी अभी तक कोई आधिकारिक जानकारी सामने नहीं आई है। ये ट्रेन किराए के लिहाज से काफी सस्ती रहेगी। हालांकि सुविधाएं वंदे भारत की तरह ही रहेंगी। इन ट्रेनों को खास रूप से गरीब तबके के लोगों को देखकर बनाया गया है। इन ट्रेनों के जरिए खासौतर से यूपी, बिहार, छत्तीसगढ़, झारखंड और ओडिशा जैसे राज्यों में कनेक्टिविटी बढ़ाई जाएगी। इस ट्रेन का खास मकसद प्रवासी मजदूरों और अन्य लोगों के सफर को आसान बनाना है।
वंदे साधारण ट्रेन में भी वंदे भारत जैसी ही सुविधाएं मिलेंगी। साथ ही इसकी रफ्तार भी वंदे भारत के बराबर होगी। इसमें सभी सेंकेंड क्लास के डिब्बे होंगे। इसका किराया भी काफी कम होगा। वंदे भारत एक्सप्रेस का किराया शताब्दी एक्सप्रेस से करीब 18 फीसदी ज्यादा है। जैसे दिल्ली से देहरादून के बीच वंदे भारत एक्सप्रेस का चेयर कार किराया 1,065 रुपये है। जबकि शताब्दी एक्सप्रेस का किराया 905 रुपये है। इसी तरह दिल्ली से देहरादून के बीच जन शताब्दी एक्सप्रेस में सेकंड क्लास का किराया 165 रुपये है। इस हिसाब से देखें तो वंदे साधारण का किराया 190 रुपये तक हो सकता है।