भारत में UPI पेमेंट का चलन काफी तेजी से बढ़ा है। अब यूपीआई ट्रांजैक्शन ने एक और मील का पत्थर पार कर लिया है। रियल-टाइम भुगतान प्लेटफॉर्म चलाने वाले नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया (NPCI) के मुताबिक मोबाइल पेमेंट और यूनिफाइड पेमेंट इंटरफेस (UPI) ने उम्मीद के मुताबिक 30 अगस्त को पहली बार 10 अरब ट्रांजैक्शन को पार कर सकता है। जुलाई में यूपीआई प्लेटफॉर्म पर 9.96 अरब ट्रांजैक्शन हुए थे।
NPCI ने जारी नहीं किया है 30 अगस्त तक का डेटा
NPCI ने अभी तक 30 अगस्त का डेटा साझा नहीं किया है, लेकिन 29 अगस्त को यूपीआई लेनदेन 9.89 बिलियन तक पहुंच गया था। अगस्त महीने के दौरान, UPI से रोजाना लगभग 330 मिलियन लेनदेन हो रहे थे। उस रन रेट के साथ, यूपीआई को अगस्त में लगभग 10.5 बिलियन लेनदेन तक पहुंचना चाहिए, जो महीने-दर-महीने 5 प्रतिशत की वृद्धि है।
29 अगस्त तक हुए थे इतने ट्रांजैक्शन
29 अगस्त तक कुल 14.68 लाख करोड़ रुपये तक का यूपीआई ट्रांजैक्शन हुआ था। जो इस महीने के अंत तक लगभग 15.4 - 15.6 लाख करोड़ रुपये होने की संभावना है, जो जुलाई के 15.33 लाख करोड़ रुपये के रिकॉर्ड को पार कर सकता है। अगस्त में 10 बिलियन यूपीआई ट्रांजैक्शन होने की संभावना जताई गई थी। जुलाई में ही यूपीआई ट्रांजैक्शन 9.89 अरब तक पहुंच गया था। एनपीसीआई अगले दो से तीन सालों के भीतर मंथली लगभग 30 करोड़ लेनदेन या डेली एक करोड़ लेनदेन का लक्ष्य बना रहा है।
त्योहारी सीजन में बढ़ जाता है यूपीआई पेमेंट
अक्टूबर और नवंबर जैसे त्योहारी सीजन के महीनों के दौरान, प्लेटफॉर्म पर दूसरे महीनों के मुकाबले बेहतर प्रदर्शन देखने को मिलता है। बता दें कि पिछले कुछ सालों में यूपीआई ट्रांजैक्शन काफी तेजी से बढ़ा है। लगभग 57 फीसदी ट्रांजैक्शन यूपीआई के जरिए किया जाता है। क्यूआर के आ जाने के बाद यूपीआई ट्रांजैक्शन में और भी ज्यादा तेजी से इजाफा आया है। एक रिपोर्ट के मुताबिक यूपीआई के 330 लाख से भी ज्यादा यूनीक यूजर्स हैं और लगभग 70 लाख दुकानदारों ने 356 लाख क्यूआर कोड को लगाया है। इसके अलावा PhonePe, Google Pay, Paytm, Cred और Amazon Pay जैसे UPI ऐप्स की वजह से इसका ट्रांजैक्शन बढ़ा है। वहीं नोटबंदी और कोविड की वजह से यूपीआई पेमेंट में इजाफा हुआ है।