Vedanta Group : तमिलनाडु कॉपर यूनिट को लेकर सुप्रीम कोर्ट ने आज 14 फरवरी को वेदांता ग्रुप को बड़ी राहत दी है। सुप्रीम कोर्ट ने तूतीकोरिन में वेदांता के स्टरलाइट कॉपर स्मेल्टिंग प्लांट के मामले में पैनल बनाने का प्रस्ताव दिया है। यह पैनल प्लांट को फिर से शुरू करने पर विचार करेगा। भारत के मुख्य न्यायाधीश डीवाई चंद्रचूड़ की अगुवाई वाली पीठ ने कहा कि पैनल में पर्यावरण के विशेषज्ञ और इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी (IIT) के एक प्रतिनिधि शामिल होंगे। पैनल के गठन पर अदालत द्वारा अभी कोई आदेश पारित नहीं किया गया है।
हालांकि, तमिलनाडु सरकार को रिप्रेजेंट कर रहे वकील ने सुप्रीम कोर्ट के इस सुझाव पर आपत्ति जताई और कहा कि इस तरह का एक पैनल पहले गठित किया गया था और उन्होंने इस मामले पर एक रिपोर्ट भी दायर की थी। इस बीच वेदांता के शेयरों में आज तेजी देखी गई। यह स्टॉक BSE पर 3.62 फीसदी बढ़कर 279.20 रुपये के भाव पर बंद हुआ है।
साल 2018 में प्लांट के खिलाफ हिंसक विरोध प्रदर्शन के बाद पुलिस गोलीबारी में 13 लोगों की मौत हो गई थी। इसके बाद तमिलनाडु सरकार ने स्टरलाइट कॉपर को बंद करने का आदेश दे दिया था। सरकार ने इसे बंद करने का कारण पर्यावरण नियमों का उल्लंघन बताया था।
उस समय यह प्लांट सालाना 400,000 टन से अधिक धातु अयस्कों का प्रोडक्शन कर रहा था। यह भारत के तांबे के उत्पादन का 40 फीसदी हिस्सा था। इसके जरिए 5000 लोगों को सीधे और 25,000 लोगों को अप्रत्यक्ष रूप से रोजगार भी मिल रहा था।
स्टरलाइट कॉपर की पेरेंट कंपनी वेदांता ने सरकार के फैसले को चुनौती दी और नेशनल ग्रीन ट्रिब्यूनल (NGT) ने प्लांट को बंद करने को गलत बताते हुए इसे फिर से खोलने की अनुमति दी। हालांकि, सुप्रीम कोर्ट ने इस फैसले को पलट दिया और वेदांता को किसी भी अंतरिम राहत के लिए मद्रास हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाने का निर्देश दिया।
इसके बाद न तो मद्रास हाई कोर्ट और न ही सुप्रीम कोर्ट ने प्लांट को फिर से खोलने की अनुमति दी। वेदांता ने जरूरी मेंटेनेंस के लिए प्लांट में समय-समय पर जाने देने की मांग करते हुए एक याचिका दायर की। अप्रैल 2023 में सुप्रीम कोर्ट ने वेदांता को बंद प्लांट में मेंटेनेंस का काम करने की इजाजत दे दी।