Get App

MP से लेकर छत्तीसगढ़ तक, BJP ने ऐसे जीता आदिवासी वोटरों को विश्वास, देखती रह गई कांग्रेस

Election Results 2023: मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में आदिवासी वोटों को लुभाने के लिए पार्टियों ने तमाम ऐलान और वादे किए थे। नतीजों को देखकर लगता है कि इन वादों ने चुनाव में अपना असर डाला है। दोनों ही राज्यों में आदिवासी समुदाय की काफी आबादी है। छत्तीसगढ़ में अनसूचित जनजाति (STs) की आबादी करीब 30.6 फीसदी है

Moneycontrol Newsअपडेटेड Dec 03, 2023 पर 7:45 PM
MP से लेकर छत्तीसगढ़ तक, BJP ने ऐसे जीता आदिवासी वोटरों को विश्वास, देखती रह गई कांग्रेस
BJP ने 15 नवंबर को विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूहों के लिए PM-PVTG मिशन की शुरुआत की

Election Results 2023: मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में आदिवासी वोटों को लुभाने के लिए पार्टियों ने तमाम ऐलान और वादे किए थे। नतीजों को देखकर लगता है कि इन वादों ने चुनाव में अपना असर डाला है। दोनों ही राज्यों में आदिवासी समुदाय की काफी आबादी है। छत्तीसगढ़ में अनसूचित जनजाति (STs) की आबादी करीब 30.6 फीसदी है। वहीं मध्य प्रदेश में इनकी आबादी 21.1 फीसदी है। भारतीय जनता पार्टी (BJP) ने 15 नवंबर को 24,000 करोड़ रुपये के प्रधानमंत्री विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूह (PM-PVTG) मिशन की शुरुआत की। यह मिशन 18 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में 75 कमजोर जनजातीय समूहों के समग्र विकास पर ध्यान केंद्रित करता है। मिशन के तहत, हाशिए की जनजातियों को सड़क और दूरसंचार कनेक्टिविटी, शिक्षा, हेल्थकेयर और पोषण तक पहुंच आदि सुविधाएं प्रदान की जाएंगी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने मध्य प्रदेश, राजस्थान और छत्तीसगढ़ में चुनाव से पहले इस मिशन की शुरुआत की थी। 2011 की जनगणना के अनुसार, मध्य प्रदेश और छत्तीसगढ़ में विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूह की आबादी क्रमशः लगभग 4.1 लाख और 1.1 लाख है। इस योजना को BJP की ओर से आदिवासी वोटों को साधने के एक जरिए के रूप में देखा गया।

छत्तीसगढ़

छत्तीसगढ़ में BJP की जीत ने उन चुनाव एनालिस्ट्स को चौंका दिया, जो कांग्रेस की जीत की भविष्यवाणी कर रहे थे। आर्थिक मामलों के लिए बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता गोपाल कृष्ण अग्रवाल ने मनीकंट्रोल को बताया, "मुद्दा यह है कि कांग्रेस 65 से अधिक सालों से जाति जनगणना, ओबीसी (अन्य पिछड़ा वर्ग) कल्याण के बारे में बात कर रही है। लेकिन जब वे सत्ता में थे, उन्होंने कुछ भी नहीं किया। यह मोदी सरकार ही थी जिसने ओबीसी आयोग को संवैधानिक दर्जा दिया। वे आदिवासी कल्याण की बात करते हैं, लेकिन यह मोदी सरकार थी जिसने आदिवासी मिशन के लिए 24,000 करोड़ रुपये आवंटित किए। लोग इसे समझ चुके हैं।"

सब समाचार

+ और भी पढ़ें